शनिवार व्रत कैसे किया जाता है, इसके नियम और विधि

शनिवार व्रत कैसे किया जाता है, इसके नियम और विधि

पोस्ट को शेयर करे

शनिवार का दिन शनिदेव को समर्पित होता है। शनिदेव को प्रसन्न करने के लिए शनिवार का व्रत करते है। शनि से पीड़ित व्यक्ति इस शनिवार का व्रत करता है। शनिवार का व्रत बढ़ते चाँद दिन यानी कि शुक्ल पक्ष के प्रथम शनिवार से प्रारम्भ किया जा सकता है। अगर किसी व्यक्ति के जीवन में आर्थिक समस्या चल रही है, तो वह इस व्रत करके अपने कष्ट दूर कर सकता है। शनिदेव व्रत करने के कुछ नियम है।

  • व्यक्ति को व्रत के एक दिन पहले मांस, मदिरा या फिर तामसिक चीजों का सेवन नहीं करना चाहिए।
  • शनिवार के दिन स्नान करने के बाद शनिदेव की पूजा का संकल्प करना चाहिए।
  • शनिवार के दिन किसी को उल्टा नहीं बोलना चाहिए और नहीं उसका अपमान करना चाहिए।
  • शनिवार को धन और लोहे की वस्तु आदि चीजों का दान श्रद्धा अनुसार कर सकते हैं।
  • आर्थिक तंगी से छुटकारा पाने के लिए शनिवार के दिन शनिदेव की विधि पूर्वक पूजा करनी चाहिए।
  • व्रत में अन्न का सेवन नहीं करना चाहिए।
  • शनिदेव को फल, फूल, काले तिल और तेल अर्पित करना चाहिए।
  • शनिदेव की पूजा के दौरान पाठ करें और आरती करें।
  • इस व्रत में खिचड़ी और काली उड़द की दाल का सेवन करना चाहिए।
  • शनिवृत करने से भगवान शनिदेव की कृपा होती है।

शनिदेव व्रत का महत्व

शनि के प्रकोप से बचने के लिए शनिवार व्रत का पालन करना चाहिए। मान्यताओं के अनुसार शनि दोष के कारण ही व्यक्ति को जीवन में कई परेशानियों का सामना करना पड़ता है। शनि व्रत करने से आपकी सारी परेशानी दूर होती है। यही व्रत करने से शनि दोष भी दूर होता है। शनि व्रत कुंडली में पीड़ित शनि ग्रह को मजबूत करता है।

See also  मिर्गी रोग कैसे फैलता है, जाने पूरी जानकारी

शनिवार व्रत विधि कैसे करें

  • शनिवार के दिन जल्दी उठ जाए और स्नान कर लें।
  • उसके बाद घर के मंदिर में जाकर मंदिर साफ करें। उसके बाद लोहे से बनी शनि देव की प्रतिमा को पंचामृत से स्नान कराया जाता है।
  • शनि देव की लोहे से बनी मूर्ति को चावलों से बनाए चौबीस दल के कमल पर स्थापित करना है।
  • इसके शनि देव के समर्पित धुप और अगरबत्ती जलाएं।
  • उसके बाद शनि की प्रतिमा पर काले तिल और तेल चढ़ाएं। साथ ही काले वस्र अर्पित करें।
  • शनिदेव के मंत्रों का जाप करें और शनि चालीसा पढ़े।
  • शनि देव को काले उड़द की दाल, खिचड़ी और सरसों के तेल से बनी पूरी का भोग लगाए।
  • उसके शनिदेव की व्रत कथा पढ़े और अंत में आरती करें।
  • उसके बाद पूजा करते समय हुई गलती की माफ़ी मांगे।
  • इसके बाद पीपल के पेड़ में जल अर्पित करें। साथ ही उसके नीचे सरसों के तेल का दीपक जलाएं

शनिदेव व्रत की सामग्री

धूप, अगरबत्ती, स्वच्छ जल, पंचामृत, चावल, सरसों का तेल, सूती धागा, लोहे से निर्मित शनि देव की प्रतिमा, पूजा की थाल, काले तिल, फल, कलश, पुष्प, काला कपड़ा आदि।

व्रत करने के फायदे

  • शनि पूजा करने से शनिदेव की कृपा मिलती है और शनिदेव के प्रभाव के दोष कम होते है।
  • यह पूजा जीवन में खुशहाली, संपत्ति और सफलता लाने में मदद कर सकती है।
  • शनि पूजा से भय, चिंता और तनाव कम होते हैं और मानसिक शांति मिलती है।
  • यह पूजा न्याय, धार्मिकता और ईमानदारी को बढ़ावा देती है।

ये भी पढ़े: शनिदेव को खुश करने के 6 उपाय क्या है, पूरी जानकारी

WhatsApp Channel – सुख, शांति और धन की प्राप्ति के लिए घरेलू उपाय Follow Now
  • शनि पूजा करने से आर्थिक स्थिति मजबूत हो सकती है और व्यापार में वृद्धि हो सकती है।
  • यह पूजा शनि की क्रोध से बचाती है और नकारात्मकता को दूर करती है।
  • शनि पूजा से स्वास्थ्य में सुधार हो सकता है और रोगों से बचाव हो सकता है।
See also  मानसिक तनाव: क्या है, इसे दूर करने के घरेलू उपाय

शनिवार व्रत का उद्यापन

  • शनिदेव उद्यापन दिन ब्रह्म मुहूर्त में उठें और स्नान कर स्वच्छ वस्त्र धारण कर लें।
  • इसके बाद पूजा के लिए ब्राह्मण द्वारा चार द्वारो का मंडप तैयार करें।
  • फिर वेदी बनाकर देवताओं का आह्नान किया जाता है और इसके बाद कलश की स्थापना होती है।
  • इसके बाद गंध, पुष्प, फल, धूप, नैवेद्य, दक्षिणा, फूल आदि देवताओं को अर्पित करें।
  • फिर शनि देव की प्रतिमा को पंचामृत से स्नान कराए।
  • इसके बाद विधि विधान हवन करें।
  • हवन की समाप्ति के बाद शनि से संबंधित वस्तुओं का दान करें।
  • ब्राह्मण को भोजन कराएं और दक्षिण देकर विदा करें।
  • इसके बाद भोजन कर लें।

शनिवार व्रत से संबंधित प्रश्न

शनिवार व्रत में क्या नहीं करना चाहिए?

शनिवार व्रत में किसी को भूलकर भी बुरा नहीं बोलना चाहिए और न ही अपमान करना चाहिए। अगर आप ऐसा करते है, तो शनिदेव नाराज होते है।

शनिवार के दिन नहाने वाले पानी में क्या डालें?

शनिवार के दिन नहाने वाले पानी में कच्चा दूध डाले। ऐसा करने से बुरे प्रभावों से राहत मिलती है।

शनिवार के व्रत में कौन सा फल खा सकते हैं?

शनिवार के व्रत में मूंगफली और केला खाएं। लेकिन आप ध्यान रखें कि इसे अधिक न खाएं।

शनिवार का व्रत रहने से क्या होता है?

शनिवार के दिन भगवान शनिदेव की विधिपूर्वक पूजा-व्रत करने से साधक की मनचाही मनोकामना पूरी होती है। माना जाता है कि भगवान शनिदेव व्यक्ति विशेष को कर्म के अनुसार फल देते हैं।

शनि को खुश करने के लिए क्या करना चाहिए?

शनि देव की कृपा पाने के लिए शनिवार के दिन स्नान करने के बाद गंगाजल में काले तिल मिलाकर पीपल को अर्ध देना चाहिए और पीपल के चारों तीन बार परिक्रमा करनी चाहिए।


पोस्ट को शेयर करे

Posted

in

by

Tags: